बड़ी खुशियों की तलाश में ,
दम तोड़ जाती नन्हीं खुशियाँ !
सूत दर सूत बढ़ कर ही ,
बन पाता वृक्ष विशाल .....
अंकुरण काल से ही ,बीज में
छुपी रहती अपार संभावनाएं ....
जरा नन्हे से बीज से झांकती ,
जरा नन्हे से बीज से झांकती ,
पत्तियों को सँवार कर तो देखें ....
बाल-मन की किलकारियों पर झूमती ,
नन्ही हथेलियों को सहला कर तो देखें ........
नींव की अनदेखी पड़ जायेगी भारी ,
जरा रेत पर इमारत बना कर तो देखें .....
कहकहे लगाना हो मुश्किल तो ,
जरा थोड़ा सा मुस्कुरा कर तो देखें .......
एवरेस्ट की चढ़ाई मुमकिन नहीं ,
जरा घर में ही क़दमों को बढ़ा कर तो देखें .......
चमकते सूरज को नहीं देख सकते ,
जरा जर्रे को माहताब बना कर तो देखें .....
दुनिया को हंसा नहीं सकते तो क्या ,
एक मुरझाये चेहरे को गुदगुदा कर तो देखें ......
बड़ी खुशियाँ जब आयेंगी तब की तब देखेंगे ,
एक छोटे से प्रोत्साहन पर खिलखिला कर तो देखें .....
ये सुकून भरी साँसे इतनी मुश्किल भी नहीं ,
जरा प्यार से हाथ बढ़ा कर तो देखें ..........
kaas! ham sab ye samjh pate.. bhut hi sarthak rachna...
जवाब देंहटाएंअंकुरण काल से ही ,बीज में
जवाब देंहटाएंछुपी रहती अपार संभावनाएं ....
जरा नन्हे से बीज से झांकती ,
पत्तियों को सँवार कर तो देखें ... aur phir sinchen aur unka vistaar dekhen , bahut badhiyaa
@सुषमा ,ये तो हम सब को समझना ही चाहिये ,धन्यवाद !
जवाब देंहटाएंदी ,सुबह अच्छी हो गयी न ...:)
नींव की अनदेखी पड़ जायेगी भारी ,
जवाब देंहटाएंजरा रेत पर इमारत बना कर तो देखें .....
कहकहे लगाना हो मुश्किल तो ,
जरा थोड़ा सा मुस्कुरा कर तो देखें .......
हमें पाठ याद कराती एक बेहतरीन शिक्षिका की तरह है आपकी कविता बधाई
छोटी छोटी खुशियाँ मिलकर बड़ी से भी बड़ी हो जाती हैं।
जवाब देंहटाएंआत्म शक्ति का बोध कराती रचना.
जवाब देंहटाएंनन्ही हथेलियों को सहला कर तो देखें ........
जवाब देंहटाएंनींव की अनदेखी पड़ जायेगी भारी ,
जरा रेत पर इमारत बना कर तो देखें .....
कहकहे लगाना हो मुश्किल तो ,
जरा थोड़ा सा मुस्कुरा कर तो देखें .......
कितनी सुंदर बात कही...... छोटी छोटी खुशियाँ ही जीवन का रंग हैं....
एक छोटा सा प्रोत्साहन बच्चों का उत्साह दोगुना कर सकता है.
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छी लगी आपकी यह रचना.
सादर
Beej men hee vruksh kee sambhawnaen hain use to jatan se sawarna hee padega.
जवाब देंहटाएंsahi kaha aapane
जवाब देंहटाएंbaccho ko hamesha protsahit karte rahna chahiye
isse unake andar chupi pratibha bahar aa sakti hain
बहुत खूब!
जवाब देंहटाएंबहुत अच्छे भाव। सफलता की राह में महत्त्व पहले क़दम का है, और पहल लेने का है।
bhut sahi kaha aapne
जवाब देंहटाएंvikasgarg23.blogspot.com
कुछ भी करने के लिए सबसे पहले सकारत्म सोच बहुत जरुरी है
जवाब देंहटाएंआपकी कविता में वो सोच है ....बहुत अच्छी सोच ...
वाह ……………सकारात्मक सोच को दर्शाती बहुत ही सुन्दर कविता ।
जवाब देंहटाएंसुन्दर रचना........
जवाब देंहटाएंसच कहा ... छोटी छोटी खुशियाँ ही दिल को सकूँ देती हैं ... महसूस करना चाहिए बस ....
जवाब देंहटाएंबड़ी खुशियों की तलाश में ,
जवाब देंहटाएंदम तोड़ जाती नन्हीं खुशियाँ !
पहली दो लाइनों ने पूरी रचना का भाव स्पष्ट कर दिया. क्या बात है
बाँटकर जो सुख मिलता है शायद पाकर नहीं
जवाब देंहटाएंऐसी रचनाएं उम्मीद जगाती हैं... धन्यवाद..
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